अनिल कपूर और माधुरी दीक्षित की साल 1992 में रिलीज हुई फिल्म बेटा के साथ अगर गोविंदा का कनेक्शन है ऐसा हमने कहा, तो आपके दिमाग में क्या ख्याल आएगा? कुछ लोगों को लगेगा कि शायद गोविंदा को अनिल कपूर की जगह पहला ऑफर मिला होगा या फिर भी fees को लेकर कोई झगड़ा हुआ होगा या कुछ और, पर इसमें से कुछ भी नहीं है। दरअसल गोविंदा का नहीं बल्कि उनकी फिल्म का बेटा फिल्म के साथ एक कनेक्शन है।
दरसल “बेटा” यह टाइटल कितना short and sweet title है, पर इस फिल्म के देखी जाए तो कई सारे titles हो सकते थे। मतलब फिल्म की कहानी ही इतनी मजेदार है कि, हर कोई अलग-अलग टाइटल सजेस्ट कर सकता है। अब उसमें से “बड़ी बहू” एक टाइटल था पर फिर डायरेक्टर इंद्र कुमार ने इसे बदल दिया और बेटा रखा। फिर माधुरी दीक्षित का काम देखकर critics ने इसे बेटी बनाया, पर तब भी फिल्म का टाइटल बेटा ही था।
दरअसल बात यह है कि, गोविंदा की 1994 में रिलीज हुई फिल्म “बेटा हो तो ऐसा”का ओरिजिनल टाइटल बेटा था ऐसा कहा जाता है। पर अब बात यह है कि बेटा तो 1992 में रिलीज हुई, तो फिर इस फिल्म का बेटा टाइटल कैसे हो सकता है और ऊपर से इस नाम से एक पहले ही फिल्म बन चुकी है, तो फिर गोविंदा की फिल्म का टाइटल तो बदलना ही पड़ता। नहीं तो फिल्म का तो पता नहीं, पर फिर इनके copyright issues या rights का मामला चला रहता और बेटा की उम्र हो जाती।
रुकिए रुकिए, अभी तक गोविंदा का कनेक्शन खत्म नहीं हुआ है। अब 1994 में ही रिलीज हुई उनकी दूसरी फिल्म जिसका नाम है दुलारा, इसमें हमें गोविंदा और करिश्मा कपूर की सुपरहिट जोड़ी दिखाई दी, जो उस वक्त काफी धमाका कर रही थी। इस फिल्म में किसी सीन के दौरान गोविंदा लड़की के गेट अप में तैयार होते हैं, तब धक धक करने लगा यह गाना बजता है।
फिर 2013 में रिलीज हुई आयुष्मान खुराना की जो एक कॉमेडी फिल्म है जिसका नाम है नौटंकी साला, तो उसमें भी धक धक करने लगा का एक मसालेदार version हमें देखने को मिला, जिसे गाया था singer सबा आजाद ने। पर लोगों को असली वाला गाना याद आया, तो कुछ लोगों ने इस गाने की भी तारीफ की। मतलब इस गाने की popularity ही इतनी है कि हर कोई इसमें डूब जाता है। अब इस गाने का नशा चढ़ने के पीछे भी माधुरी का ही हाथ है, जिन्होंने अपने साथ साथ इस गाने को भी एवरग्रीन बनाया रखा है।
इसके बाद हमारे कप्पू शर्मा यानी कपिल शर्मा का जो पॉपुलर शो है, कॉमेडी नाइट्स विद कपिल में जब अनिल कपूर गेस्ट बनकर आए थे, तब ऐसा तो नहीं होगा कि उनकी जबरदस्त फिल्म का जबरदस्त गाना ना बजाया जाए। तो उस वक्त भी धक धक करने लगा गाना बजाया और उस पर काफी सारी बातें हुई।
तो अब इस गाने को और नशा चढ़ने से पहले ही धक धक करने लगा का सिलसिला यही खत्म करते हैं और हम अब उटी चलते हैं। तो अब आप कहेंगे उटी में क्या है। ऊटी में तो बहुत कुछ है, पर एक लकी पेड़ भी है।
देखिए जैसे कुछ डायरेक्टर्स के लिए कुछ actors लकी होते हैं, कुछ actors के लिए कुछ डायरेक्टर्स लकी होते हैं, कुछ co-stars लकी होते हैं, उसी तरह बेटा फिल्म के डायरेक्टर इंद्र कुमार के लिए उटी का एक पेड़ काफी लकी है।
वैसे तो इंद्र कुमार इस बात पर बहुत हंसते हैं, पर वह थोड़ी ना इस बात का खुलासा करेंगे, तो हमें ही उनके दिल की बात समझ नहीं होगी। अब आपने फिल्म का गाना तो सुना ही होगा जिसका नाम है,” कोयल सी तेरी बोली”, उसमें माधुरी दीक्षित और अनिल कपूर की जोड़ी दिखाई दी। तो इस गाने में हमे एक पेड़ दिखाई देता है। वहीं इंद्र कुमार की दूसरी फिल्म *दिल” में भी उसे इस्तेमाल किया जाता है जहा आमिर खान और माधुरी दीक्षित की जोड़ी दिखाई थी, फिर संजय कपूर और माधुरी दीक्षित की फिल्म राजा में भी यही पेड दिखाई दिया था। तो इन तीनों फिल्मों के डायरेक्टर थे इंद्र कुमार और यह तीनों भी फिल्में बॉक्स ऑफिस पर अपना कमाल दिखा चुकी है। मतलब इन ब्लॉकबस्टर फिल्मों का वह पेड़ भी एक अहम हिस्सा है।
अब हम उस पेड़ को लकी बोले या पेड़ खुद को लकी बोले, क्योंकि माधुरी जैसी ब्यूटीफुल एक्ट्रेस उसके आसपास गा रही थी, झूम रही थी, घूम रही थी, तोअब जाहिर सी बात है कि, किसी के भी दिल में लड्डू फूटेंगे। अब पेड़ के दिल पर हमें ज्यादा डॉक्यूमेंट्री नहीं करनी, पर माधुरी के पास क्या जादू है पता नहीं,वह इंसान को तो दीवाना बनाती ही है, और अब शायद यह पेड़ भी दीवाना हुआ होगा। सही कहा ना?
खैर मजाक की बातें छोड़ते हैं, और पेड़ को उसका क्रेडिट दे देते हैं। इसी तरह की बहुत सारी बातें हम आपसे शेयर करने वाले हैं पर उसके लिए अगले blog का जरूर इंतजार करिए।