चार दोस्त जो जल्द से जल्द, ज्यादा से ज्यादा पैसा कमाने की राह पर निकले थे। अब यह काम सीधे रास्ते से होना तो बहुत ही मुश्किल था, तो चारों ने आपस में तय किया कि किसी तरह illegal काम करके ही अपना सपना पूरा किया जाएगा। उसी समय Dhoom फिल्म आई थी। Film को देखकर चारों को idea आया कि bank लूटना सबसे सही रहेगा । चारों ने अलग-अलग bank देखना शुरू किया था । देखा और परखा की कहां कितनी security है और फिर kerala के malappuram जिले मे एक बैंक को चुना।
इस bank को चुनने का कारण यह था कि यह एक building की दूसरी माले पर स्तिथ था। पहले माले को किराए पर देने के लिए खाली रखा गया था। South Malabar Bank को लूटने के लिए 4 में से 2 चोर जो husband wife थे उन्होंने ground floor को किराए पर ले लिया। इसके लिए उन्होंने 50000 का deposit भी दिया। कुछ दिनों तक उन्होंने कोई काम नहीं किया पर नजर रखने के लिए जाते रहे और साथ-साथ bank की शाखा में भी चक्कर लगाते इससे ने पता चल गया कि bank का locker और बाकी deposit कहां रखे रहते हैं। इन्होंने खाली जगह के आगे बोर्ड लगा दिया कि यह restaurant 8 जनवरी को खुलने वाला है और इसीलिए यहां पर restaurant का काम चल रहा है सब कुछ सही दिखाने के लिए कुर्सी table भी मंगा ली।
इसके बाद तारीख आती है 30 दिसंबर 2007 Sunday होने के कारण बैंक बंद था। नीचे से building में छेद करके bank deposit room में पहुंच जाते हैं। पूरी तैयारी से घुस के 80 किलो सोना और ₹20लाख चुरा ले जाते हैं। ही सारा सोना वह नीचे लेकर आते हैं और सुबह सुबह पूरी जगह को खाली कर कर वहां से निकल जाते हैं। क्योंकि sunday का दिन था और bank बंद था इसलिए security guard भी bank से दूर खड़ा था ,ना ही उसे कोई ठोकने पीटने की आवाज आई और ना ही कोई और अजीब चीज दिखी। पूरा दिन बीते और किसी को भनक तक नहीं लगी कि बैंक लूट चुका है । Monday को जब बैंक खुला सबके होश उड़ जाते हैं और पुलिस को phone किया जाता है।
देश की सबसे बड़ी बैंक रोबरी ने सनसनीखेज खबर फैला दी थी केरल पुलिस special task force बनाती है जिसकी head होते हैं वहां के SP Mr Viniyan। सतीश करने पर पता चलता है कि जितने भी कागज और जितने भी पैसे इन लोगों ने दिए थे वह सब फर्जी थे पर पुलिस ने गवाहों के कहने पर sketch जरूर निकलवा लिए थे।
क्योंकि पुलिस को कोई भी सुराग नहीं मिल रहा था तो उन्होंने मालाबार area के सभी phone towers के नंबर को खंगालना शुरू किया। 30 दिसंबर से 31 दिसंबर की सुबह तक किए गए सभी calls को ट्रेस करने का फैसला किया गया 25 lakh calls में से criminal को ढूंढने की कोशिश की । तफ्तीश में यह सामने आया कि सभी phone number के असली मालिक के नाम सही तरीके से company को पता थे पर केवल एक ही number ऐसा था जिसके मालिक के नाम और address के बारे में company के पास कोई खबर नहीं। पुलिस ने इस number को track किया तो पता चला कि यह नंबर kozhikode में रहने वाले एक आदमी का है। joseph मिलते ही बाकी तीन और चोर भी मिल जाते। पर कई पैसे और काफी सोना यह लोग already bech चुके थे।
ऐसे ही thugs की कहनी होने वाली है bade miyan chote miyan 2
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Apoorva